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khaskhabar.com : शनिवार, 28 जनवरी 2023 4:01 PM
नई दिल्ली | प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शनिवार को राज्य सरकार के अधिकारियों द्वारा कोयला बिक्री पर अवैध कमीशन से संबंधित मनी लॉन्ड्रिंग रोकथाम मामले में छत्तीसगढ़ में चार नई गिरफ्तारियां कीं हैं। जिन चार आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है उनकी पहचान दीपेश टोंक, संदीप नायक, शिव शंकर नाग और राजेश चौधरी के रूप में हुई है। रिपोर्ट के अनुसार, दीपेश टोंक को छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की उप सचिव सौम्या चौरसिया का करीबी बताया जाता है।
इस बीच, चौधरी ने जांच एजेंसियों को धोखा देने के लिए एक फर्जी ईडी आईडी कार्ड अपने साथ रखा था। वहीं चौरसिया, आईएएस समीर विश्नोई और कुछ अन्य मामले में जांच के घेरे में हैं। विश्नोई और चौरसिया को ईडी पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।
रिपोर्ट के अनुसार, ईडी ने दिसंबर 2022 में इस मामले में सूर्यकांत तिवारी, चौरसिया, विश्नोई, इंद्रमणि समूह के सुनील अग्रवाल और अन्य की 152.31 करोड़ रुपये की चल और अचल संपत्ति कुर्क की थी। सितंबर में ईडी ने विश्नोई, अग्रवाल और लक्ष्मीकांत तिवारी को गिरफ्तार किया था। वहीं अगले महीने, फरार आरोपी सूर्यकांत तिवारी ने एक अदालत के सामने आत्मसमर्पण कर दिया था, जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया।
आईएएस रानू साहू कथित तौर पर लापता थीं लेकिन उन्होंने अक्टूबर में ईडी को एक पत्र लिखा और अधिकारियों को बताया कि वह चिकित्सा अवकाश पर हैं। बाद में, जांच एजेंसी ने उनकी मां के घर पर तलाशी अभियान चलाया।
ईडी के अधिकारियों ने बिश्नोई से 25 रुपये प्रति टन कोयले के कथित कमीशन के संबंध में पूछताछ की थी। ईडी ने लगातार दो दिनों तक छत्तीसगढ़ में भी छापेमारी की थी और करीब 4 करोड़ रुपये बरामद किए थे। आयकर विभाग ने पहले छत्तीसगढ़ सरकार को एक पत्र लिखा था, जिसमें आरोप लगाया गया था कि मुख्यमंत्री के बेहद करीबी कुछ अधिकारी कोयले और अन्य व्यवसायियों से कमीशन/रिश्वत लेने में शामिल थे। लेकिन राज्य सरकार द्वारा इस संबंध में कोई कार्रवाई नहीं की गई।(आईएएनएस)
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