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khaskhabar.com : शुक्रवार, 18 सितम्बर 2020 2:35 PM
जयपुर। केन्द्रीय गृह मंत्रालय के पुलिस अनुसंधान एवं विकास ब्यूरो की ओर से पण्डित गोविन्द वल्लभ पंत पुरस्कार योजना के तहत मूल पुस्तकों के 5 पुरस्कारों, अनुदानित पुस्तकों के लिए 2 पुरस्कारों तथा भारत की आर्थिक प्रगति में प्रभावी कानून व्यवस्था और तकनीक का योगदान विषय पर पुस्तक लिखवाने के लिए 2 प्रस्ताव आमंत्रित किए गए हैं। इन पुरस्कारों के लिए प्रस्ताव लिए नई दिल्ली स्थित पुलिस अनुसंधान एवं विकास ब्यूरो में भेजने की अन्तिम तिथि 31 मार्च 2021 निर्धारित की गई है।
महानिदेशक पुलिस भूपेन्द्र सिंह ने बताया कि पुलिस, कारागार प्रशासन, अपराध शास्त्र तथा न्यायालयिक विज्ञान से सम्बन्धित विषयों पर हिन्दी में उत्कृष्ट लेखन को प्रोत्साहित करने के लिए वर्ष 1982 से पण्डित गोविन्द वल्लभ पंत पुरस्कार योजना संचालित है। इस योजना के तहत पुलिस से सम्बन्धित विषयों पर हिन्दी की प्रकाशित मूल पुस्तकों के लिए 30-30 हजार रुपए की राशि के 5 पुरस्कार प्रदान किए जाते हंै।
इनमें से एक पुरस्कार महिला लेखकों के लिए आरक्षित है। पुलिस से सम्बन्धित अनुदानित हिन्दी पुस्तकों के लिए 14-14 हजार रुपए के 2 पुरस्कारों में से एक पुरस्कार रचना प्राप्त होने पर महिला लेखकों के लिए आरक्षित है। इन पुरस्कारों के लिए 31 दिसम्बर 2020 तक लगभग 150 पृष्ठों की प्रकाषित पुस्तकें शामिल की जायेगी एवं प्रस्ताव के साथ पुस्तकों की 3-3 प्रतियां भिजवाई जानी है।
ब्यूरो द्वारा पुलिस से सम्बन्धित किसी विषय पर पुस्तक लिखवाने के लिए प्रतिवर्ष 40 हजार रुपए का एक पुरस्कार प्रदान किया जाता है। इस श्रेणी में इस वर्ष लेखक ‘भारत की आर्थिक प्रगति में प्रभावी कानून व्यवस्था और तकनीक का योगदान’ विषय पर अपनी रूपरेखा प्रस्तुत कर सकते है। इसी योजना में महिलाओं के लिए 40 हजार रुपए के पुरस्कार के लिए विषय पर लेखक ‘अपराध नियंत्रण में प्रभावी अन्वेषण की भूमिका विषय पर लेखक’’ के बायोडाटा सहित प्रस्तावित पुस्तक की रूपरेखा आमं़ित्रत की गई है।
इस पुरस्कार के सम्बन्ध में विस्तृत जानकारी नई दिल्ली में महिपालपुर स्थित पुलिस अनुसंधान एवं विकास ब्यूरो के सम्पादक हिन्दी प्रकोष्ठ से प्राप्त की जा सकती है।
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